उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा जनहित में जारी गरीबी रेखा के नीचे जीवन यापन करने वाले परिवार के लिए राष्ट्रीय परिवारिक लाभ योजना को बड़े पैमाने पर चलाया जा रहा है। जिसमें यह प्रावधान है कि 60 साल से कम उम्र में यदि कोई व्यक्ति की मौत हो जाती है तो उसके परिवार अर्थात उसकी पत्नी को सरकार ₹30000 उसके जीवन यापन के लिए देगी।
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सरकारी योजनाओं की खातिर 21 महिलाएं बनी विधवा
इस योजना के चलते सरकारी ऑफिसर व दलालों की मिलीभगत से पार्टियों से कंसल्ट कर के 50% बंटवारे की रकम को लेकर ऐसे मामले सामने आए हैं जिसमें 21 महिलाएं जिनके पति जीवित हैं वह विधवा लाभ लेने के लिए हर प्रकार के हथकंडा अपनाकर अपने खाते में सरकारी धन को इकट्ठा जरूर कर लिया है।
₹30000 में मात्र मिलते थे 15 हजार, बाकी दलाल खा जाते थे
जबकि यह देखा जाए उन्हें मात्र 10 से ₹15 हजार रुपये मिलते थे बाकी के रुपए सरकारी बाबू व दलाली में लिप्त दलाल खा जाते हैं।इसका राज लखनऊ के सरोजनी नगर से 2 महिलाओं को भ्रष्टाचार में लिप्त होना पाया गया तो इसका खुलासा हुआ है। समाज कल्याण अधिकारी ने शख्त कड़ाई से जांच करते हुए दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई करने का आदेश दिया है।